बदल गई है विश्वविद्यालय की सूरत, कुलपति के कामों की होती है प्रशंसा - मधेपुरा खबर Madhepura Khabar

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28 जनवरी 2018

बदल गई है विश्वविद्यालय की सूरत, कुलपति के कामों की होती है प्रशंसा

बीएनएमयू में नये कुलपति डाॅ. अवध किशोर राय ने 29 मई 2017 को योगदान दिया था. उस समय विश्वविद्यालय की स्थिति बदतर थी और इसका स्थान बिहार में सबसे पीछे था.
           यहाँ से हमेशा नकारात्मक खबरें आती थीं और अच्छा  विद्यार्थी एवं सक्षम अभिभावक इस विश्वविद्यालय से मुंह फेरने लगे थे. यहाँ हर स्तर पर भ्रष्टाचार चरम पर था और छोटे-छोटे काम के लिए कई बार चक्कर लगाना पड़ता था.
                 सबसे दुखद पहलू यह था कि विश्वविद्यालय के तत्कालीन कुलपति डॉ. विनोद कुमार यहाँ बिल्कुल समय नहीं देते थे. वे अपने एजेंटों के माध्यम से पटना में रहकर ही विश्वविद्यालय चलाते थे.
            लेकिन नये कुलपति डाॅ. अवध किशोर राय के योगदान के साथ ही विश्वविद्यालय का मौसम बदलने लगा और उनके योगदान के आठ माह पूरे होने पर आज सबकुछ बदला-बदला सा लग रहा है.
             इसी बदलाव एवं विकास को केंद्र में रखकर विश्वविद्यालय के जनसंपर्क पदाधिकारी डॉ. सुधांशु शेखर ने आठ माह की उपलब्धियों का संक्षिप्त लेखा-जोखा जारी किया है. 
उनके द्वारा गिनाई गयी उपलब्धियाँ हैं-
1. सभी काम नियम-परिनियम के अनुरूप करने का प्रयास किया गया है. इसके लिए सभी काम संबंधित समितियों एवं निकायों की सहमति से किए जा रहे हैं.
                 परीक्षा समिति, वित्त समिति, विद्वत परिषद्, भवन निर्माण समिति, क्रय-विक्रय समिति आदि की बैठकें नियमित रूप से हो रही हैं. सात माह में सिंडीकेट की चार बैठकें हो चुकी हैं. सीनेट की बैठक 3 फरवरी को होने जा रही है.
 2. पार्वती साइंस कालेज, मधेपुरा, पूर्णियां काॅलेज, पूर्णियां, एमएलए काॅलेज, कसाब एवं एसएनवाई काॅलेज, रामबाग को नैक से बी ग्रेड मिला. 
3. दर्शनशास्त्र, अंग्रेजी, अर्थशास्त्र, मनोविज्ञान, भूगोल, रसायनशास्त्र, गणित आदि विषयों में नये शिक्षकों का पदस्थापन किया गया है. 
4. फारबिसगंज काॅलेज, फारबिसगंज में 54 कर्मचारियों की स्थायी नियुक्त की गयी है. विश्वविद्यालय में कार्यरत संविदाकर्मियों का स्थायीकरण किया गया है. 
5. सितंबर में पेंशन अदालत लगाकर सेवानिवृत्त सेवानिवृत्त शिक्षकों एवं कर्मचारियों की समस्याओं का आॅन द स्पाॅट समाधान किया गया. दिसंबर 2018 तक सभी बकाया पेंशन का भुगतान करने का लक्ष्य रखा गया है. 
6. सभी शिक्षकों की नियमानुसार  प्रोन्नति की प्रक्रिया जारी है.
7. विश्वविद्यालय वित्तीय स्वच्छता एवं पारदर्शिता के आदर्शों के अनुरूप कार्य कर रहे हैं और सभी प्रकार की वित्तीय अनियमितताओं को रोकने हेतु प्रतिबद्ध है. सभी महाविद्यालयों एवं स्नातकोत्तर विभागों को ससमय उपयोगिता प्रणाम-पत्र जमा करने के निर्देश दिये गये हैं. 
8. सभी महाविद्यालयों, स्नातकोत्तर विभागों एवं विश्वविद्यालय कार्यालयों में बायोमेट्रिक एटेन्डेस सिस्टम लागू किया जा रहा है. 
9. स्नातकोत्तर विभागों एवं महाविद्यालयों में समय तालिका के अनुरूप कक्षाओं का संचालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिये गये हैं. 
10. लंबित शोध प्रस्तावों को पीजीआरसी की बैठक में स्वीकृति प्रदान की गयी है. अप्रैल में प्रीपीएच. डी. परीक्षा आयोजित की जाएगी. यूजीसी रेगुलेशन 2016 को लागू किया गया है.
11. जगह-जगह सेमिनार एवं अन्य शैक्षणिक कार्यक्रमों का आयोजन जारी है. 
12. विश्वविद्यालय नियमित सत्र हेतु प्रतिबद्ध है. दिसंबर 2018 तक सत्र नियमित हो जाएगा. कदाचरमुक्त परीक्षा संचालन और ससमय त्रुटिरहित परीक्षाफल प्रकाशन सुनिश्चित किया गया है. विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार कदाचार जांच समिति का गठन किया गया है. 
13. एमबीए, एमसीए, बीलिब, एमलिब, संस्कृत एवं संगीत की पढ़ाई जल्द शुरू होगी. इन सभी विषयों का पाठ्यक्रम राजभवन को स्वीकृति हेतु भेजा जा चुका है. आगे नाट्यशास्त्र विषय भी स्वीकृति मिलने की संभावना है. साथ ही कुछ और विषयों की भी पढ़ाई शुरू होगी.
14. विश्वविद्यालय के शिकायत निवारण कोषांग को सक्रिय बनाया गया है. सभी महाविद्यालयों में भी शिकायत निवारण कोषांग गठित करने हेतु आवश्यक निर्देश दिए गए हैं. 
 15. जुलाई में ही सोशल साइंस के सभी विषयों को नये कैम्पस में सिफ्ट किया गया है. विज्ञान के सभी विषयों को भी नये कैम्पस के विज्ञान भवन में सिफ्ट किया जा चुका है. इस उपलक्ष्य में  29 जनवरी को वहाँ एक समारोह आयोजित किया गया है.
16. सभी विभागों को तीन दिन के अंदर संचिकाओं के निष्पादन हेतु निर्देश दिये गये हैं.
17. बी. एड. सत्र 2017-19 में नामांकन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है. जल्द ही सत्र 2018-20 में नामांकन की प्रक्रिया शुरू होगी.
18. विभिन्न स्तरों पर आॅन लाइन नामांकन प्रक्रिया शुरू करने हेतु प्रयास जारी है. 
19. भवनों की मरम्मत एवं सौंदर्यीकरण का कार्य जारी है. विश्वविद्यालय परिसर में जगह-जगह सोलर लाइट लगाया गया है. 
20. स्टेट बैंक की सहायता से चुल्हाय पार्क एवं कृति पार्क का सौंदर्यकरण किया जा रहा है. 
21. शुद्ध पेयजल एवं शौचालय की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही है. मुख्यमंत्री के साथ निश्चय कार्यक्रम और राजभवन के निर्देशों के अनुरूप सभी महाविद्यालयों में 31 मार्च तक गर्ल्स काॅमन रूम एवं वासरूम की व्यवस्था की जाएगी. 
22. मुख्यमंत्री के साथ निश्चय कार्यक्रम और राजभवन के निर्देशों के अनुरूप सभी महाविद्यालयों में वाई फाई यूज़र्स की संख्या बढाई जा रही है. 
23. मधेपुरा के माननीय सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव के सौजन्य से एक बस प्राप्त हुआ है. 
24. वर्षों से बंद पड़े जिम को चालू किया गया है. बैडमिंटन कोर्ट एवं वाॅलीवाल कोर्ट का निर्माण कराया गया है. 
25. बंद पङे रीमिडियल कोचिंग की शुरुआत हुई है. 
26. शतरंज, क्रिकेट, खो-खो एवं एथलेटिक्स में अंतर विश्वविद्यालयप्रतियोगिताओं में भागीदारी की गयी. स्वतंत्रता दिवस एवं गणतंत्र दिवस के शुभ अवसर पर उत्कृष्ट खिलाड़ियों को पुरस्कृत किया गया.
27. बिहार सरकार के उर्जा मंत्री विजेन्द्र प्रसाद यादव के सहयोग से पर्यावरण एवं वन विभाग, बिहार सरकार के द्वारा बीएसएस काॅलेज, सुप्रौल में बैंबू प्लांट टीसू कल्चर की शुरुआत की गयी है.
28. पिछले दो माह में एनएसएस के 25 शिविर आयोजित किए गए हैं.
29. राजभवन के निर्देशों के अनुरूप फरवरी में छात्र संघ चुनाव संपन्न कराने की योजना है. इसके लिए समिति का गठन कर दिया गया है और महत्वपूर्ण तिथि भी घोषित की जा चुकी है. गत 24 जनवरी को समिति के सदस्यों  ने  सभी प्रधानाचार्यों के साथ बैठक की. जल्द ही सभी छात्र संगठनों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की जाएगी. 
25. विश्वविद्यालय का रजत जयंती समारोह की तैयारी शुरू हो गयी है. इसके लिए समिति का गठन किया गया है. यूजीसी को दो करोड़ रूपये का प्रस्ताव भेजा जा रहा है. इसमें पूर्ववर्ती छात्रों को भी आमंत्रित किया जाएगा. 26. सिंडीकेट के निर्णय के अनुरूप नये कैम्पस में एक अत्याधुनिक सभागार बनाने का प्रस्ताव यूजीसी को भेजा जा रहा है. 
27. विश्वविद्यालय में एक हेल्थ यूनिट शुरू करने की प्रक्रिया जारी है. 
28. विश्व योग दिवस, स्वच्छ भारत अभियान और बाल विवाह एवं दहेज विरोधी मानव-श्रृंखला में भागीदारी निभाई गयी. 
29. बीएनएमयू का नया वेबसाइट बीएनएमयू डाॅट एसी डाॅट इन बनाया गया है. 
30. जनसंपर्क पदाधिकारी के माध्यम से मीडिया को आवश्यक सूचनाएँ उपलब्ध कराने की व्यवस्था की गयी है.  साथ ही सोशल मीडिया (फेसबुक एवं वाट्सप आदि) के जरिए भी विश्वविद्यालय की आवश्यक सूचनाएँ प्रकाशित-प्रसारित की जाती हैं. 

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