इस सीट पर वही व्यक्ति चुनाव लड़ सकते हैं जो केंद्र सरकार द्वारा जारी अधिसूचना में अनुसूचित जातियों की सूची में शामिल हो. चंद्रहास चौपाल तांती जाति से आते हैं. केंद्र सरकार द्वारा जारी अनुसूचित जातियों की सूची में यह जाति शामिल नहीं है. ऐसी स्थिति में उन्हें सुरक्षित सीट से प्रत्याशी नहीं बनाया जा सकता है. बिहार सरकार द्वारा जारी अधिसूचना के आलोक में होने वाले चुनाव में ही उन्हें प्रत्याशी बनाया जा सकता है.
विधानसभा चुनाव के लिए अधिसूचना केंद्र सरकार द्वारा जरीनकीय जाता है. इसलिए इस चुनाव में केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए अनुसूचित जाति के लोगों को ही अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित सीट पर लड़ने का हक है. इसके बावजूद सुरक्षित सीट पर कोई उम्मीदवारी देता है तो सीधे आर्टिकल 341 का उल्लंघन है. इन तथ्यों पर विचार करते हुए उन्होंने जिला निर्वाचन पदाधिकारी से चंद्रहास चौपाल का रिजल्ट रोकते हुए स्वयं को विजयी घोषित करने की मांग की है.हालांकि जिला निर्वाचन पदाधिकारी की ओर से फिलहाल किसी की विजयी घोषित नहीं कि गयी. दूसरी इस मामले को लेकर राजद और जदयू कार्यकर्ता मतगणना केंद्र के बाहर जमा हो गए हैं. दोनों पक्षों की ओर से अपने- सपने प्रत्याशी के समर्थन में नारेबाजी की जा रही है.
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