मधेपुरा: संध्या सत्र में ऑनलाइन परिचर्चा हुई. इसके मुख्य वक्ता महात्मा गाँधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा के पूर्व कुलपति प्रोफेसर मनोज कुमार ने युवाओं को गाँधी का संदेश विषय पर व्याख्यान दिया. उन्होंने कहा कि गांधी ने अपनी गलतियों से सबक लिया, उसकी पुनरावृत्ति ना करने की कसम खाई. उन्होंने कहा कि गाँधी का पूरा जीवन हमारे लिए संदेश है. गांधी सत्य को ही ईश्वर मानते थे. गांधी का ईश्वर मंदिर, मस्जिद में नहीं, बल्कि मनुष्यों के अंदर है. विशिष्ट वक्ता अखिल भारतीय शांति प्रतिष्ठान के राष्ट्रीय अध्यक्ष बिंदु भूषण दुबे ने भारतीय युवाओं का राष्ट्रीय कर्तव्य विषयक व्याख्यान दिया.
उन्होंने कहा है कि भारतीय युवाओं का राष्ट्रीय कर्तव्य पर सबों को मंथन करने की जरूरत है. युवा अपने कैरियर के साथ-साथ देश के बारे में भी सोचें. उन्होंने कहा कि आज जनसंख्या बड़ी तेजी से बढ़ रही है, जबकि प्राकृतिक संसाधन घट रहा है. साथ ही दुनिया में ग्लोबल वार्मिंग का खतरा भी बढ़ गया हैै. वैज्ञानिक का अनुमान है कि आज 52 डिग्री तापमान है, जो 2030 तक 5 डिग्री तक और बढ़ जाएगा. उन्होंने कहा कि प्रकृति के विकास में अपना योगदान दें. प्रकृति के साथ इको फ्रेंडली बने.
सम्मानित वक्ता पंडित मदन मोहन मालवीय हॉस्पिटल, दिल्ली सरकार, नई दिल्ली सीएमओ डा. मणिशंकर प्रियदर्शी ने स्वच्छता और स्वास्थ्य विषय पर व्याख्यान दिया. उन्होंने युवाओं को स्वास्थ्य पर ध्यान देने की सलाह दी. उन्होंने कहा कि हमें अपनी दिनचर्या में नियमित रूप से योग, व्यायाम एवं शारीरिक श्रम को शामिल रहना चाहिए. 20 मिनट कम से कम पैदल चलना चाहिए. टाइम मैनेजमेंट रखना चाहिए. पर्याप्त नींद लेनी चाहिए.
ऑनलाइन कार्यक्रम का संचालन राजनीति विज्ञान विभाग के शोधार्थी सारंग तनय ने किया. इसमें विशेष रूप से शोधार्थी द्वय सौरभ कुमार चौहान एवं माधव कुमार, छात्र नेता डेविड यादव, हिमांशु राज, रौशन कुमार रमण, आशीष आनन्द, माधव कुमार, प्रीति झा, नाजरे आलम आदि ने सहयोग किया.
(रिपोर्ट:- ईमेल)
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